जिले में बाल-विवाह रोकने के संबंध में व्यापक दिशा-निर्देश जारी

बाल-विवाह रोकने के लिए विभिन्न विभागों को दी जिम्मेदारी

बीकानेर। जिला कलक्टर कुमार पाल गौतम ने कहा कि समस्त उपखण्ड मजिस्टेªट एवं तहसीलदार बाल विवाह की प्रभावी रोकथाम के लिए उपखण्ड एवं तहसील स्तर पर विशेष विधिक साक्षरता कार्यक्रम का आयोजन करने, जिसमें पीडित प्रतिकर स्कीम, 2011 एवं पीसीपीएनडीटी एक्ट के प्रावधानों बाबत आमजन में जानकारी पहुंचाने के प्रभावी प्रयास करें। इन कार्यक्रमों में पुलिस, सामाजिक न्यास व अधिकारिता विभाग, महिला बाल विकास, चिकित्सा शिक्षा, नगर पालिकाओं, पंचायतों के कर्मचारियों, सामाजिक कार्यकर्ताओं, मीडियाकर्मियों की उपस्थिति सुनिश्चित करावें। गौतम ने कहा कि अक्षय तृतीया एवं पीपल पूर्णिमा के अवसर पर जिले में बाल विवाहों की सूचना प्राप्ति एवं इस पर प्रभावी समन्वय स्थापित करने के उद्देश्य से कार्यालय उपनिदेशक, महिला एवं बाल विकास विभाग तथा समस्त उपखंड कार्यालयों में एक-एक नियंत्रण कक्ष भी स्थापित किया जावे, जो 24 घंटे कार्यरत रहेगा। उक्त नियंत्रण कक्ष जिला प्रशासन, पुलिस प्रशासन, जिला परिषद सहित संबंधित विभागों से समन्वय स्थापित करेगा। जिले के शहरी व ग्रामीण क्षेत्रों में बाल विवाह रोकने के लिए एक अभियान चलाया जाकर अपने अधिनस्थ कर्मचारियों एवं अधिकारियों को दायित्व भी सोंपा जावे, जिसे घर-घर, गांव-गांव, बाल विवाहों को रोकने के संदेश पहुंॅचाने एवं जन-चेतना जागृति की कार्यवाही किया जाना सुनिश्चित हो सके और बाल विवाहों जैसी कुरीति पर प्रभावी रोक लग सके। इसके साथ ही अपने सभी अधिनस्थों को यह भी निर्देश देवें कि उन्हें किसी भी बाल विवाह होने की जानकारी प्राप्त हो तो तत्काल संबंधित पुलिस थाने अथवा कार्यपालक मजिस्टेªट को सूचना देवें।

सूचना के अधिकार अधिनियम विषय पर एक दिवसीय प्रशिक्षण सम्पन्न

बीकानेर। हरिश्चन्द्र माथुर राजस्थान राज्य लोक प्रषासन संस्थान द्वारा सोमवार को एक दिवसीय सूचना के अधिकार अधिनियम विषय पर प्रशिक्षण कार्यक्रम का आयोजन संस्थान में किया गया। इस प्रशिक्षण में शिक्षा विभाग के 23 नोडल अधिकारी उपस्थित हुए। पाठ्यक्रम निदेशक एवं अतिरिक्त निदेशक शिशिर चर्तुवेदी ने प्रशिक्षण का शुभारम्भ करते हुये सूचना के अधिकार अधिनियम की संवेदनशीलता पर संक्षिप्त जानकारी प्रदान की। उन्होंने सम्भागियों की प्रशिक्षण में सक्रिय सहभागिता के लिए आभार व्यक्त करते हुए आम नागरिक को बेहतर तरीके से सूचना प्रदान करने पर जोर दिया। उन्होंने बताया कि शिक्षा विभाग के सभी नोडल अधिकारियों को वर्षभर प्रशिक्षण दिया जाय इस अवसर पर प्रशिक्षक गोविन्द शर्मा तथा राम किशन द्वारा सूचना के अधिकार के तहत आए प्रार्थना पत्रों के निस्तारण के तरीकों की जानकारी दी। साथ ही इस अधिनियम के तहत की जाने वाली प्रथम एवं द्वितीय अपील की प्रक्रिया से अवगत करवाया। प्रशिक्षक के अजय चोपड़ा ने अधिनियम के विभिन्न आचरण नियमों पर प्रकाश डाला।